विदेशमें चाहे जितना भी ऐश्वर्य हो, वहां रावण राज्य ही है !
विदेशमें चाहे जितना भी ऐश्वर्य हो, वहां रावण राज्य ही है । अमेरिकामें ‘कोरोना’ द्रुत गतिसे अपने पांव फैला रहा है, ऐसेमें वहांके राष्ट्रपतिका कहना है कि वे देशव्यापी बन्दी नहीं लाएंगे; क्योंकि उनके शत्रु यही तो चाहते हैं कि बन्दी हो एवं उससे वहांकी अर्थव्यवस्थाको हानि पहुंचे और वे चुनाव हार जाएं ! यह सत्तालोलुपताका रोग विदेशसे ही हमारे पास आया है ।
देशकी प्रजाके प्राण जाए; किन्तु सत्ता न जाए, ऐसे शासनकर्ताको राक्षस नहीं तो और क्या कहेंगे ?
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