महाभारतके युद्धके समय कुरुक्षेत्रमें भगवान श्रीकृष्णने अर्जुनसे कहा “मैंने पहले ही सभी कौरवोंका नाश कर दिया, तुम्हें मात्र एक कठपुतली समान अपने क्षत्रिय कर्तव्य पूर्ण करने हैं” ! उसी प्रकार हिन्दू राष्ट्रकी स्थापना संतोंने सूक्ष्म स्तरपर पहले ही कर दिये हैं, अब तो मात्र औपचारिकताको पूर्ण करना है और जो भी इस औपचारिकताको पूर्ण करनेमें इस महायज्ञमें यथाशक्ति अपना योगदान देंगे, उनका अर्जुन समान उद्धार निश्चित है और जो इसमें अवरोधक बनेंगे उनका कौरवों समान सर्वनाश भी निश्चित है , कालमहिमा अनुसार भारतमें सर्वप्रथम एवं कुछ काल पश्चात सम्पूर्ण विश्वमें हिन्दू राष्ट्र राज्य प्रणालीका अस्तित्त्वमें आना अवश्यंभावी है; परंतु इस तथ्यपर विश्वास करनेके लिए साधनाका ठोस आधार चाहिए एवं इस कार्यमें सहभागी होने हेतु उस जीवपर ईश्वरीय कृपाका संपादन सबसे आवश्यक घटक है ! – तनुजा ठाकुर
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