पाकिस्तानके कहनेपर यासीन मलिक कश्मीरके युवकोंको आतङ्कवादके लिए भडका रहा था !
१२ मई, २०२२
पाकिस्तानके कहनेपर ही यासीन मलिक कश्मीरमें युवकोंको भडकाया था । इसके लिए और अन्य देशविरोधी कार्यवाहियोंके लिए लगनेवाला धन जुटानेके लिए उसने प्रबन्ध किया था, ऐसी स्वीकृति पूर्व जिहादी आतङ्कवादी यासीन मलिकने देहलीके ‘एन.आइ.ए.’ न्यायालयमें हुई सुनवाईके समय दी । १९ मईको होनेवाली सुनवाईमें उसे दण्ड सुनाया जाएगा । यासीन मलिक अभी कारागृहमें है । उसपर भारतीय दण्ड संहिताकी धारा १६ (आतङ्कवादी गतिविधि), धारा १७ (आतङ्कवादके लिए धन जुटाना), धारा १८ (आतङ्की षड्यन्त्र) और धारा २० (आतङ्की संगठनका सदस्य) अन्तर्गत अपराध प्रविष्ट किए गए थे । इसके साथ ही उसपर ‘यू.ए.पी.ए.’, १२० ब (आपराधिक षड्यन्त्र) और देशद्रोह धारा (१२४ ए) के अन्तर्गत भी अपराध प्रविष्ट किए गए हैं ।
यासीन मलिकपर कश्मीरके युवकोंको भडकानेसे लेकर वायुसेनाके अधिकारियोंकी हत्या करना, ‘लश्कर-ए-तोयबा’के प्रमुख हाफीज सईदसे मिलना, तत्कालीन गृहमन्त्री मुफ्ती मोहम्मद सईदकी बेटीका अपहरण करना, ऐसे अनेक गम्भीर आरोप हैं । वर्ष २०१३ में यासीन मलिक हाफीज सईदके साथ पाकिस्तानमें आमरण उपोषणके लिए बैठा था । मोहम्मद अफजलको फांसी देनेपर भी यासीन मलिकने विरोध प्रदर्शन किया था ।
पाकिस्तानके विरुद्ध असंख्य साक्ष्य होनेपर तो शासनको पाकिस्तानको पाठ पढानेके लिए कठोर पग उठाने चाहिए । पाकिस्तानका राष्ट्रके रूपमें ‘दर्जा’ होना मानवीय मूल्योंकी घोर त्रासदी है; सभी सभ्य समाज और राष्ट्रोंको भी पाकिस्तानके विरुद्ध कठोर पग उठाने होंगे । – सम्पादक, वैदिक उपाासना पीठ
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