आयुर्वेद

आयुर्वेद अपनाएं स्वस्थ रहें (भाग – २५.३)


मधुमेह ऐसा रोग है, जो किसी भी समय, किसीको भी हो सकता है । यदि आप बाहरका भोजन, रिफाइंड तेल, चीनी आदि खाते हैं और गतिहीन जीवन शैली व्यतीत कर रहें हैं तो आपको मधुमेह होनेकी सम्भावना अधिक हो….

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आयुर्वेद अपनाएं स्वस्थ रहें ! (भाग – २५.२)


प्याजमें ‘थियोसल्फिनेट्स’ और ‘थियोसल्फोनेट्स’ होते हैं, जो दांतोंको खराब करनेवाले विषाणुओंको न्यून करनेमें सहायता करते हैं । प्याजको कच्चा खाना उत्तम माना जाता है; क्योंकि पकानेके पश्चात इनमे…..

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आयुर्वेद अपनाएं स्वस्थ रहें (भाग – २५.१)


प्याज (संस्कृत नाम – पलाण्डुः, यवनेश्ट, मुखदूशक; अंग्रेजी नाम – Onion; अन्य नाम – कांदा, डूंगरी) एक वनस्पति है, जिसका कन्द शाकके रूपमें प्रयोग किया जाता है । इसके पत्ते पतले, लम्बे और सुंगधराजके पत्तोंके आकारके…..

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आयुर्वेद अपनाएं, स्वस्थ रहें (भाग – २४.३)


टमाटरमें विद्यमान ‘लाइकोपीन’ और ‘जीएक्सैंथिन’ जैसे कुछ ‘फ्लैवोनॉयड’ आक्सीकरणरोधी तत्त्व शरीरकी मुक्त कणोंसे रक्षा करते हैं ……

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आयुर्वेद अपनाएं, स्वस्थ रहें (भाग – २४.२)


रक्त शर्कराके स्तरको न्यून करनेके लिए टमाटर मधुमेह रोगियोंके लिए एक उत्तम आहार है । इसमें अत्यल्प मात्रामें ‘कार्बोहाइड्रेट’ होता है, जो मूत्र शर्कराके स्तरको नियन्त्रित करनेमें सहायक है । यह ‘क्रोमियम’का भी एक बहुत अच्छा स्रोत…..

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आयुर्वेद अपनाएं, स्वस्थ रहें (भाग – २४.१)


टमाटर (संस्कृत नाम – हिण्डीरः, रक्त वृन्तकम्; अंग्रेजी नाम – टोमैटो, वैज्ञानिक नाम – सोलनम लाइकोपेर्सिकम) विश्वमें अधिक प्रयोग होनेवाला शाक है । टमाटरके बिना भारतीय रसोई अधूरी है ! यह प्रायः एक शाक माना जाता है; परन्तु वास्तवमें यह एक……

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आयुर्वेद अपनाएं स्वस्थ रहें (भाग – २२.३)


गिलोयके काढेको ब्राह्मीके साथ पीनेसे उन्माद या पागलपन दूर हो जाता है । गिलोयको ‘अडाप्टोजेनिक’ (औषधीय घटक) औषधिके रूपमें प्रयोग किया जा सकता है, यह मानसिक तनाव और चिन्ताको अल्प करती है…….

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आयुर्वेद अपनाएं स्वस्थ रहें (भाग – २१)


सूखी अदरक, जिसे सोंठके (संस्कृत नाम – अरद्रका, आर्द्रशाक; अन्य नाम – चुक्‍कू, शुंती, सोनथ; अंग्रेजी नाम – Dry Ginger) नामसे जाना जाता है, इसका उपयोग प्राचीन समयसे ही आयुर्वेदमें व्‍यापक रूपसे किया जा रहा है । प्रत्येक ऋतुमें और……

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आयुर्वेद अपनाएं स्वस्थ रहें (भाग – २०.२)


श्वास सम्बन्धी रोगोंका उपचार करनेमें तुलसीका सेवन उपयोगी सिद्ध होता है । मधु (शहद), अदरक और तुलसीको मिलाकर बनाया गया काढा पीनेसे श्वसन-शोथ (ब्रोंकाइटिस), ‘दमा’ और कफमें लाभ मिलता है । नमक, लौंग और तुलसीके पत्तोंसे…….

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आयुर्वेद अपनाएं स्वस्थ रहें  ! (भाग – २०.१)


तुलसी (संस्कृत नाम – त्रिदशमञ्जरी, अंग्रेजी नाम – Holi Basil) शब्दका अर्थ है, ‘अतुलनीय पौधा’ । तुलसी भारतमें सबसे पवित्र आयुर्वेदिक औषधि मानी जाती है और ‘औषधियोंकी रानी’ भी कहलाती है ।
भारतीय संस्कृतिमें…….

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