साधकोंकी अनुभूतियां

जालन्धरकी (पंजाब) श्रीमती रिम्पल गुप्तकी अनुभूतियां,


१. श्री गुरुदेव दत्त जप करनेपर आरतीकी ध्वनि अपने आप सुनाई देना वैदिक उपासना पीठसे जुडनेपर जब मैंने ‘श्री गुरुदेव दत्त’का जप आरम्भ किया तो जप अखण्ड होता था । नींदमें भी जप होता था । एक दिन सवेरे तीनसे चार बजेके मध्यका समय था, मुझे अकस्मात मन्दिरकी घण्टियां बजनेका स्वर सुनाई देने लगा ।तब […]

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बंगलुरुकी श्रीमती मीनू गुप्तकी अनुभूतियां


१. पतिको बोलनेपर भी तुलसीके पौधेका नूतन घरमें न लाना और वह एक अतिथिद्वारा भेंट स्वरूप दिया जाना जब मैंने नामजप करना आरम्भ किया था तो प्रयास रहता था कि नामजप हर समय होता रहे; परन्तु कभी-कभी भूल जाती थी । यह अनुभूति उस समयकी है जब हमने नूतन घरका गृह-प्रवेश किया था, पूजा हमने […]

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देहलीकी श्रीमती कमलेश रावतकी अनुभूतियां


१.  नामजपके मध्य चन्दनकी सुगन्धका भान होना सितम्बर २०१७ में जब उपासनासे जुडी और देहली आश्रममें गई तो तनुजा मांने ‘ॐ श्रीगुरुदेव दत्त ॐ’ का जाप करनेको कहा । जापके दूसरे दिन जैसे ही जाप आरम्भ किया तभी मुझे चन्दनकी सुगन्ध आई । यह कुछ ही समयके लिए हुआ । २.  नामजप करते हुए उदबत्तीकी […]

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जर्मनीके प्रकाश चाननाकी अनुभूतियां


१. चिकित्सालयमें शस्त्रोपचारको रोककर मांद्वारा जीवनदान मिलना : जून २०१६के ग्रीष्मकालमें (गर्मीके दिनोंमें) कुछ अतिथियों सहित हम सभी किसी पर्वतीय क्षेत्रमें घूमनेके लिए गए हुए थे ।ऊपर पहुंचनेसे कुछ समय पूर्व मेरी धर्मपत्नी “जया”को अचानक कष्ट अनुभव हुआ । हम सभीने कहा कि पर्वतपर चढनेसे सांस तो सबकी फूलती ही है, किसी विशेष बातपर ध्यान […]

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हिन्दू राष्ट्रसे सम्बन्धित व्याख्यान लेनेसे पूर्व आने लगा अत्यधिक स्वेद (पसीना) !


दिनांक १९ फरवरी २०१७ को मुझे उत्तरप्रदेशके गाजियाबाद जनपदके बम्हेटा गांवमें व्याख्यान लेनेकी सेवाकी सन्धि मिली । उस दिवस जब मैं प्रातः १० बजे आश्रम पहुंचा एवं उसके थोडे समय पश्चात् जब धर्मसभा हेतु सभी आवश्यक सामग्री लेकर हम आश्रमसे प्रस्थान करके वाहनमें बैठे तो उसी समय मुझे अकस्मात् अत्यधिक स्वेद आने लगा । यद्यपि […]

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जप मालासे सुगन्ध आना


पूज्या तनुजा मांद्वारा बताए गए जपको जपमालासे करने और बैठकर किए जानेका आदेश मिलते ही, मैंने सर्वप्रथम जपमालासे करना नवम्बर २०१६ में प्रारम्भ किया । प्रारम्भमें जप करते हुए मुझे बहुत कठिनाई हुई और लगा कि मैं १८ माला नित्य नहीं कर पाऊंगा; परन्तु जैसे-जैसे मैं यह करता रहा मेरा मन स्वयं जप करनेको विवश […]

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श्रीमती अंतिमा गोयलकी अनुभूति


श्रीमती अंतिमा गोयलकी अनुभूति देखेंगे | जब मैं १८ जून २०१२ को तनुजा दीदीसे मिली तब मुझे पता नहीं था कि कि मेरे जीवनमें एक नया मोड आनेवला है | मैं अगले ४-५ दिन उनसे प्रतिदिन मिली और सेवा करने लगी | प्रत्येक दिन मेरे लिए एक अनुभूति थी; परंतु उसके पश्चात सब कुछ जैसे […]

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इटलीके साधकको मेरे मनकी स्थितिकी हुई अनुभूति !


            दिनांक ३ मई २०१४ को मैं इटलीके श्री राकेश भार्गवके घरमें थी ।  सुबह दस बजे उन्होंने अपनी अनुभूति सांझी की जिसे सुनकर मुझे भी बहुत आश्चार्य हुआ | मुझे दो दिवससे रातमें ज्वर आ रहा था और बहुत सर्दी खांसी भी हो गई थी । दिनांक २ मईको […]

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साधकोंकी अनुभूतियां


मेरा नाम प्राक्षी अग्रवाल है और वर्तमान समयमें, मैं अपने पतिके साथ ओमानमें रहती हूं । मैंने पूज्या तनुजा मांके विषयमें सबसे प्रथम बार यू-ट्यूबसे जाना था और गत वर्ष अक्टूबर २०१४ में उनके सम्पर्कमें आई थी । दिनांक ३/०२/२०१५ को प्रथम बार मैं पूज्य मांसे उपासनाके दिल्ली आश्रममें मिली । आश्रम जानेका वह दिवस […]

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साधकोंको पूर्व सूचना देकर भगवानजी मेरा इस प्रकार कार्य सरल कर देते हैं !


बंगालके एक वरिष्ठ बंगाली प्रशासनिक अधिकारी गुरुपूर्णिमासे पूर्व ‘उपासना’से जुडे । उनका आध्यात्मिक स्तर, व्यष्टि साधना और भाव तीनों ही अच्छा है । वे गुरुपूर्णिमासे एक माह पूर्व ही जुडे थे, मैंने उन्हें गुरुपूर्णिमामें कुछ दिवस पूर्व सूचना दी कि वे दिल्लीकी गुरुपूर्णिमा कार्यक्रममें उपस्थित रहें और उन्होंने आज्ञापालन किया । वे अत्यधिक व्यस्त रहते […]

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